स्वतंत्र भारत के पहिला आ सबसे लमहर समे ले रहे वाला प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू जी के पुण्यतिथि पर पूरा देश याद कर रहल बा। देश के पहिलका प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू के पुण्यतिथि पर देश के पहिला प्रधानमंत्री के कब्र शांति वान में कांग्रेस अध्यक्ष श्रीमती सोनिया गांधी नमन कइली. ए दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ट्वीट क कहले कि, ‘पंडित जवाहरलाल नेहरू जी के पुण्यतिथि प बहुत श्रद्धांजलि।’
Tributes to Pandit Jawaharlal Nehru Ji on his death anniversary.
— Narendra Modi (@narendramodi) May 27, 2022
राहुल गांधी ट्वीट करत कहले कि, ‘उनका मौत के 58 साल बाद पंडित जवाहरलाल नेहरू के विचार, राजनीति अवुरी हमनी के राष्ट्र खाती विजन ओतने प्रासंगिक बा, जेतना पहिले रहे।’ भारत के एह अमर बेटा के मूल्य हमनी के हरकत आ विवेक के हमेशा मार्गदर्शन करे।’
https://twitter.com/RahulGandhi/status/1530030169271832576?s=20&t=8dJvZbIbbUM4p5baL9iC0w
एकरा से पहिले कांग्रेस पार्टी आधिकारिक ट्विटर हैंडल से ट्वीट करत कहलस कि, उनुका दिमाग में दुगो बात रहे, हमनी के राष्ट्र के आजादी, हमनी के लोग के समृद्धि। आ धरती पर कवनो शक्ति, ओह समय के सबसे बड़ साम्राज्य भी, अपना के कबो एह सपना के साकार करे खातिर अथक मेहनत करे से ना रोक पवलस। पं. नेहरू एगो निर्भीकता के आदमी रहले।
कांग्रेस अध्यक्ष श्रीमती सोनिया गांधी जी ने देश के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू जी के समाधि स्थल शांति वन में उनकी पुण्यतिथि पर उन्हें भावपूर्ण श्रद्धांजलि अर्पित की। pic.twitter.com/AQ4q2mmxY7
— Congress (@INCIndia) May 27, 2022
पंडित नेहरू जी के 1955 में भारत रत्न से सम्मानित
पंडित नेहरू अंग्रेज शासन के खिलाफ भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के महान सेनानी रहले। उ लोकतंत्र, धर्मनिरपेक्षता आ समाजवाद में विश्वास करत रहले, 1955 में पंडित नेहरू के भारत के सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न से सम्मानित कईल गईल रहे। पंडित नेहरू देश के कमान तब अपना हाथ में ले लिहले जब देश भूख, गरीबी अवुरी अशिक्षा जईसन महामारी के स्थिति से गुजरत रहे।
पंडित नेहरू जी एगो महान साहित्यकार रहनी
पंडित नेहरू एगो महान राजनीतिज्ञ आ प्रभावशाली वक्ता के साथे-साथे एगो महान साहित्यकार भी रहले। इनके रचना सभ में ग्लिम्पसेस ऑफ वर्ल्ड हिस्ट्री, इंडिया एंड द वर्ल्ड, द डिस्कवरी ऑफ इंडिया आ इनके बायोग्राफी टूवर्ड फ्रीडम के नाँव गिनावल जा सके ला। एह सब किताबन में द डिस्कवरी ऑफ इंडिया सबसे लोकप्रिय किताब बा। एकर किताब 1944 में अहमदनगर जेल में रचल गइल रहे। पंडित नेहरू एकरा के अंगरेजी में लिखले बानी। बाद में एकर अनुवाद हिंदी में हो गइल.