तोहरा के केहू पढ़ा नइखे सकत , केहू अध्यात्मिक नइखे बना सकत तोहरा सब कुछ खुद अपना अंदर से सीखे के बा | आत्मा से निमन केहू अउरी शिक्षक ना हो सकेला … इ बातिन के भारत के उ महान संत कहले रहलें, जे करोड़न युवा लोगन के उठs जागs अउरी तब तक मत रुकs जब तक ले लक्ष्य की प्राप्ति न हो जाए के मंत्र देले रहे । जवना के आजो युवा लोग सीख के रूप लेले आ अपना लक्ष्य तक पहुंचे खातिर बहुत कड़ा मेहनत करेले । आज पूरा देश 12 जनवरी स्वामी विवेकानंद की जयंती के रूप में विश्व युवा दिवस मना रहल बा ।…स्वामी विवेका नन्द जी के जयंती पs मनावल जा रहल बा राष्ट्रीय युवा दिवस, देश भर में कार्यक्रमन के धूम | आजू एह दिवस पs लकीर के फकीर ना बनि के खबर भोजपुरी लेके आईल बा एह देस के उ तमाम युवा लोगन के संघर्ष के कहानी जे अपना संघर्ष आ मेहनत के दम पs दुनिया भर में नाव कमाई के अपना क्षेत्र में झंडा गड़ले बा लोग आ करोड़ो युवा लोगन के रोल माडल बन गईल बा लो | आईं जानल जाए अइसने कुछ बेहतरीन युवा हस्ती लोगन के बारे में …………..
PV Sindhu पीवी सिंधू
पीवी सिंधु के जनम 5 जुलाई, 1995 में आंध्र प्रदेश के हैदराबाद में भईल रहे । पीवी सिंधु के पूरा नाम पुसरला वेंकट सिंधु है। सिंधु के माई-बाबूजी दुनो जाना राष्ट्रीय स्तर के वॉलीबॉल खिलाड़ी रहले लोग । पीवी सिंधु अखिल भारतीय रैंकिंग चैम्पियनशिप और सब-जूनियर नेशनल जईसे जूनियर बैडमिंटन खिताब जीतले बाड़ी। एकरा बाद उ अंतरराष्ट्रीय लेवल के खिलाड़ी बन गईंली। साल 2009 में सिंधु सब-जूनियर एशियाई बैडमिंटन चैंपियनशिप में कांस्य पदक जीतली। ओहिजे एक साल बाद ईरान में अंतर्राष्ट्रीय बैडमिंटन चैलेंज में एकल रजत जीतली। ई पीवी सिंधु के लगन आ मेहनते के नतीजा रहल कि साल 2012 एशियाई जूनियर चैंपियनशिप में उ एक बार फेरु जीत हासिल कईली। जवना मंच पs एक साल पहिले सिंधु कांस्य पदक जीतले रहली , ओहिजे अब उ आपन पहिला स्वर्ण हासिल कइले बाड़ी | सिन्धु युवा लोगन में खासे लोकप्रिय बाड़ी आ उनकर नाव खेल जगत में सुनहला अक्षर में लिखाइल बा |
Youth Day Arunima Sinha अरुणिमा सिन्हा
विश्व के सात महाद्वीपन के चोटी पs तिरंगा फहरावे वाली एकमात्र दिव्यांग पर्वतारोही अरुणिमा सिन्हा के कहानी युवा लोगन खातिर कवनो प्रेरणास्त्रोत से कम नइखे। एगो गोड़ कृत्रिम होखला के बादो एवरेस्ट के चोटी पर चढ़े वाली पद्मश्री अरुणिमा सिन्हा एगो हादसा में आपन गोड़ा गंवा दिहले रही, लेकिन उनकर जजबा कम ना भईल । उ एह घटना के दू साल बादे दुनिया के सबसे ऊंच पर्वत के फतह कर लेले रहली । उ कहेली कि जरूरी नइखे कि आप सबसे मजबूत होंखी , रवा आपन कमजोरियो के आपन मजबूती बना सकत बानी। बाजे के रवा देखि लिहीं , कईसे उ अपना दोसरकी जिनगी खातिर अपना-आपे के मउत नियन कष्ट देके नाया जीवन पा लेला ताकि अपना बलबूते दुनिया में जी सके। अगर कवनों बड़हन लक्ष्य पावे के बा तs छोटहन-छोटहन लक्ष्य तय करत जाईं। ओकरा के हासिल करत जाईं, सफलता रवा झोली में होई।
IAS Simi Karan आईएएस सिमी करन
आईएएस अधिकारी सिमी करन मूल रूप से ओडिशा की रहे वाली हई, बाकिर उ छत्तीसगढ़ के भिलाई में पलल-बढ़ल बाड़ी । उ आपन शुरुआत के पढ़ाईयो एहिजे से कईले बाड़ी । सिमी दिल्ली पब्लिक स्कूल से 12वीं तक के पढ़ाई कइले बाड़ी । उ बारहवीं में 98.4 प्रतिशत अंक पवले रहली आ पूरा स्टेट में टॉप कइले रहली । सिमी करन बिना कवनों कोचिंगे के पहला कोशिश में यूपीएससी की परीक्षा पास कई लेले रहली। उनका ग्रेजुएशन के पढ़ाई मई 2019 में खत्म भईल आ जून में यूपीएससी के परीक्षा दिहली । उन्होंने स्मार्ट तरीके से पढाई कइली अउरी परीक्षा पास कई लिहली। सिमी के यूपीएससी के सिविल सर्विसेज एग्जाम-2019 में ऑल इंडिया में 31वीं रैंक मिलल रहे । उ खाली 22 साले के उमिरे में आईएएस अधिकारी बन गईंली। उ सबसे निमन प्रशिङक्षु अधिकारियो चुनल गईल बाड़ी।
Sundar Pichai सुंदर पिचाई