एंग्जायटी कब बन सकेला घातकः 65 से कम उमिर वालन खातीर अमेरिकी एक्सपर्ट्स के नया गाइडलाइंस, लक्षण दिखले के साथे स्क्रीनिंग जरूरी

Minee Upadhyay

 

कोरोना महामारी के बाद दुनिया भर में चिंता अवुरी अवसाद के मामिला में 25% के बढ़ोतरी भईल बा। ई दावा डब्ल्यूएचओ के एगो रिपोर्ट में कइल गइल बा। एह खतरनाक रुझान के बीच अमेरिकी निवारक सेवा टास्क फोर्स ( US Preventive Services Task Force) 65 साल के सभ लोग के एंग्जायटी टेस्ट करावे के सलाह देले बा।

भारत में भी कोरोना आ लॉकडाउन के बाद से मानसिक स्वास्थ्य के समस्या बढ़ल बा। साल 2020 के एगो अध्ययन में पाता चलल कि भारत के 88% लोग कवनो ना कवनो तरीका से एंग्जायटी के शिकार होखेले। आज चर्चा में हमनी के पता चल जाई, कब समझे के चाही कि एंग्जायटी चिंताजनक हालत में पहुंच गईल बा? एकरा के अनदेखी करत रउरा कवना तरह के बेमारी के शिकार हो सकेनी।

 

 

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