धर्म डेस्क। सावन के महीना भगवान शिव के पूजा-अर्चना खातिर समर्पित हs। एह महीना के दौरान शिव मंदिरन में बहुते खास रौनक देखे के मिलेला। संगही महादेव के कृपा प्राप्त करे खातिर भक्त रोज विशेष पूजा-अर्चना करेला लो आ सोमार के सबेरे व्रत कइल जाला।
धार्मिक मान्यता के अनुसार, एह व्रत के कइला से बियाह में आ रहल बाधा से छुटकारा मिल जाला। संगही कुआर लईकियन के मनचाहा वर मिलेला। अइसन में आईं एह आर्टिकल में हमनी के जानल जाव कि सावन के सोमार के सुभ मुहूर्त आ पूजा विधि (Sawan Puja Time) के बारे में।
सावन सोमार 2025 सुभ मुहूर्त (Sawan Somvar 2025 Shubh Muhurat)
वैदिक पंचांग के अनुसार, सावन माह के कृष्ण पक्ष के चतुर्दशी तिथि पऽ सावन के पहिला सोमार पड़त बा। एह तिथि के सुरुआत 14 जुलाई के देर रात 01 बजकर 02 मिनट पs होई आ समापन 14 जुलाई के देर रात 11 बजकर 59 मिनट पऽ होई। अइसन में 14 जुलाई के सावन सोमार के पहिला बरत कइल जाई आ एही दिन गजानन संकष्टी चतुर्थी मनावल जाई।
ब्रह्म मुहूर्त – सबेरे 04 बजके 11 मिनट से 04 बजके 52 मिनट तक।
विजय मुहूर्त – दुपहरिया 02 बजके 45 मिनट से 03 बजके 40 मिनट तक
गोधूलि मुहूर्त – सांझ 07 बजके 20 मिनट से 07 बजके 40 तक
निशिता मुहूर्त – रात 12 बजके 07 मिनट से 12 बजके 48 मिनट तक
सावन सोमवार पूजा विधि (Sawan Somwar Puja Vidhi)
सावन सोमार के दिन सुरुआत महादेव के नाम से करीं। एकरा बाद स्नान कs के सूर्य देव के अर्घ्य दीं। मंदिर के सफाई कs के गंगाजल ले छिड़काव करीं आ सुद्ध करीं। भगवान शिव के अभिषेक करीं आ देसी घी के दीया जराके पूजा-अर्चना करीं। भगवान शिव के गंध, पुष्प, धूप, बेलपत्र, अक्षत आदि चीज अर्पित करीं। बरत कथा के पाठ करीं। शिव मंत्रन आ शिव चालीसा के पाठ करीं। फल आ मिठाई के भोग लगाईं।
एह बातन के रखीं ध्यान
सावन के महीना में तामसिक भोजन के सेवन भूलाइयो के ना करे के चाही।
एकरा अलावे करिया रंग के कपड़ा मत पहिनी।
केहू से वाद-विवाद मत करीं।
केहू के बारे में गलत मत सोचीं।
घर के साफ-सफाई के खास ध्यान रखीं।
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