गोपालगंज : जिला के हथुआ इस्थित पहिले के प्रतिष्ठित इडेन हाई स्कूल आज बदहाल इस्थिति में गुजर रहल बा। इहां संसाधनन के कमी बनल बा। कबो ई स्कूल सारण प्रमंडल के नामी-गिरामी प्रतिष्ठित शिक्षण संस्थानन में शुमार रहे। इहां के पढ़ाई आ अनुशासन में ई बिहार के सर्वश्रेष्ठ विद्यालय मानल जात रहे। एह विद्यालय में नामांकन खातिर छात्र-छात्रा के बीच होड़ मचल रहत रहे। एही स्कूल में स्वतंत्र भारत के पहिला राष्ट्रपति डॉक्टर राजेंद्र प्रसाद सहित नामी-गिरामी लोग आपन शिक्षा ग्रहण कइले रहस। राजेंद्र बाबू सिवान के जिरादेई से एह विद्यालय में पढ़े खातिर हर दिन आवत रहस। एतनही ना पूर्व कुलपति डॉ. रिपुसुदन श्रीवास्तव, रिजर्व बैंक मुंबई के राजभाषा पदाधिकारी वीरेंद्र गिरी, राज नारायण त्रिपाठी, गोपालगंज के पूर्व डीएम मुरलीधर राय, डिप्टी कमिश्नर समीर परिमल सहित सइयन छात्र एह स्कूल से पढ़के देस के बड़-बड़ पदन पs आसीन भइल बा लो। पिछिला पचास बरिसन में एह स्कूल से कवनो छात्र बिहार स्तर पs टॉप भा पहिला पांच स्थानन में जगह बनावे में सफल नइखे हो पाइल।
इडेन हाई स्कूल से नाम बदलके राजेंद्र उच्च विद्यालय बनल
बरिस 1996 में एह स्कूल के नाम इडेन हाई स्कूल से बदलके डॉ. राजेंद्र प्रसाद उच्च विद्यालय रखल गइल। पहिले तs इहां दसवीं तक के पढ़ाई होत रहे। बाकिर 2012 में एह स्कूल के प्लस टू के मान्यता मिलला के बाद इंटर खातिर पढ़ाई सुरू भइल। 1881 में अंग्रेजी शासन काल में स्थापित एह स्कूल में आधारभूत सुविधन के कमी मुद्दत से बनल बा। इहां पढ़े वाला छात्रन के संख्या लगातार कम होत जा रहल बा। दसवीं तक इहां दु दशक पहिले दु हजार से जादे छात्र पढ़ाई करत रहे लो, बाकिर वर्तमान सत्र में नउवां कक्षा में मात्र 88 छात्र-छात्रा दाखिला लेले बा लो। स्कूल प्रबंधन के अनुसार पिछिला बरिस सरकार शिक्षा विभाग के पोषण क्षेत्र के छात्र-छात्रा लाेगन के नामांकन लेवे के आदेस जारी कइले रहे। नतीजतन स्कूल में नामांकित छात्रन के संख्या 100 से नीचे पहुंच गइल बा।
सात प्रमुख विषयन खातिर नइखे केहू शिक्षक
एह स्कूल में अभियो सात विषय खातिर केहूओ शिक्षक नइखे। एह विषयन में अंग्रेजी, मनोविज्ञान, समाजशास्त्र, संगीत, भूगोल, दर्शनशास्त्र आ भौतिकी में एको गो शिक्षक नइखे लो। जबकि जीव विज्ञान, गणित आ रसायन शास्त्र में दुगो के जगह पs एक-एक शिक्षक पदस्थापित बा लो। ई विद्यालय कबो दुगो छात्रन के बिहार टॉपर बनवले रहे। दुगो छात्र अलग-अलग बरिसन में मैट्रिक के बोर्ड परीक्षा में बिहार टॉपर बनके एगो नया रिकॉर्ड बनवले रहे लो। बरिस 1955 में हथुआ प्रखंड के मछागर गांव निवासी डॉक्टर राघवेंद्र श्रीवास्तव बिहार टॉपर बनल रहस। ओहिजा 11 बरिस बाद, 1965 में गोपेश्वर कॉलेज के तत्कालीन प्राचार्य देवनाथ सहाय के पुत्र देवानंद मधुकर बिहार बोर्ड में टॉप कs के एगो नया कीर्तिमान स्थापित कइले रहस।
पीएम श्री योजना में सामिल बा ई स्कूल, अब बनी मॉडल
प्रधानमंत्री स्कूल फॉर राइजिंग इंडिया (पीएम श्री) योजना में चिह्नित कइल गइल स्कूलन के मॉडल स्कूल के रूप में विकसित कइल जाई, जेमे इहो स्कूल सामिल बा। एह योजना में केंद्र आ राज्य सरकार क्रमशः 60:40 के अनुपात में वित्तीय सहभागिता करी। पीएम श्री योजना के तहत प्रत्येक स्कूल के दु करोड़ रुपिया दिहल जाई, ताकि स्कूलन में इंफ्रास्ट्रक्चर आ छात्रन से जुड़ल सुविधन के बेहतर कइल जा सकी। एह स्कूलन में शिक्षा प्रदान करे के आधुनिक तरीका जइसे स्मार्ट कक्षा, पुस्तकालय, कौशल प्रयोगशाला, खेल मैदान, कंप्यूटर, विज्ञान प्रयोगशाला आदि पs विशेष ध्यान दिहल जाई।
18 साल पहिले होत रहे एह स्कूल में वर्ग छव से आठवीं तक के पढ़ाई
बता दीं कि आज से 18 बरिस पहिले एह विद्यालय में वर्ग छव से आठ तक के पढ़ाई होत रहे। बाकिर, 2007 में ई कक्षा बंद हो गइल। अब बिहार सरकार के शिक्षा विभाग के अपर सचिव सुनील कुमार एक बेर फेर पत्र जारी कs के ई आदेश देले बाड़ें कि पीएम श्री योजना में चिह्नित एह स्कूल में वर्ग 6 से लेके 12 तक के पढ़ाई होई। अब 18 साल बाद, एह विद्यालय में छात्र वर्ग छव से 12 तक के पढ़ाई करत नजर आई लो।
साभार: अमर उजाला