Khabar Bhojpuri
भोजपुरी के एक मात्र न्यूज़ पोर्टल।

सावन के पहिलका एकादशी : 13 जुलाई के रही कामिका एकादशी व्रत, सबसे पहिले भीष्म पितामह, नारदजी के बतवले रहले एह बारे में

1,486

 

कामिका एकादशी व्रत सावन महीना के कृष्ण पक्ष के एकादशी तिथि के मनावल जाला। अबकी बेर कामिका एकादशी के व्रत 13 जुलाई गुरुवार के होई। एह एकादशी व्रत में भगवान विष्णु के पूजा के साथे भगवान श्रीकृष्ण आ तुलसी के पूजा भी होला। भगवान एह व्रत से प्रसन्न होके अपना भक्तन के सब मनोकामना पूरा करे के आशीर्वाद देले।

धार्मिक ज्ञान के बारे में बतावल गइल बा

मानल जाला कि कामिका एकादशी के व्रत रखला से पाप खतम हो जाला। मरला के बाद उ लोग के मोक्ष मिल जाला। एह एकादशी से पितृदोष से भी मुक्ति मिलेला। सावन के एह पहिला एकादशी में अनाज ना खाइल जाला। व्रत में खाली पानी भा दूध से बनल चीज खाए के नियम बा। भगवान के पूजा में घी के दीप जरावल फायदेमंद मानल जाला।

भीष्म नारदजी के एह एकादशी के बारे में बतवले

भीष्म पितामह सबसे पहिले नारदजी के कामिका एकादशी के बारे में बतवले रहले। तब श्री कृष्ण अर्जुन से ई कहानी सुनवले। एह कहानी में पितामह श्रावण महीना के एकादशी के भगवान विष्णु के पूजा करे के नियम आ गुण के बारे में बतवले ।

तुलसी के बिना ई व्रत अधूरा बा

एह व्रत में भगवान विष्णु के साथे तुलसी के पूजा करे के नियम भी बा। कामिका एकादशी के दिन भगवान विष्णु के मंजरी के संगे तुलसी के पत्ता चढ़ावल जाए। तुलसी भगवान विष्णु के बहुत प्रिय हई। कहल जाला भगवान विष्णु के हीरा-मोती, सोना-चाँदी से ओतना सुख ना मिलेला जतना तुलसी के पत्ता से मिलेला।

नहाए के महत्व के बारे में बतावल गइल बा

श्रावण महीना के कृष्ण पक्ष के एकादशी पs भगवान विष्णु के पूजा के साथे पवित्र स्नान आ दान के संस्कार भी होला। एह तारीख के सबेरे सबेरे उठ के पानी में गंगाजल के कुछ बूंद डाल के नहाए के चाहीं। दिन भर उपवास करत घरी शाम के दीप दान करे के चाहीं। भगवान विष्णु तिल तेल के दीप जरावे। एह तरह से दीप दान कइला से तमाम पाप खतम हो जाला आ बड़ पुण्य मिलेला।

 

 

Get real time updates directly on you device, subscribe now.

Comments are closed.