सबेरे-सबेरे: कंधा दरद से राहत दिलाइ इs योगासन, रोज करी एकर अभ्यास
गलत जीवनशैली अवुरी खाना में पोषण के कमी के चलते लोग बहुत शारीरिक समस्या से पीड़ित बाड़े। आजु के भाग दौड़ वाली जिनगी में काम के मद्देनजर लोग के इधर-उधर दौड़े के पड़ेला। व्यस्तता के चलते जब शरीर के आराम ना मिलेला त आदमी के कंधा, गोड पs दबाव पड़ेला अवुरी समस्या होखेला। गड़बड़ जीवनशैली अवुरी लगातार बईठे के आदत के चलते कंधा, हाथ-गोड़ में दरद बढ़ जाला। लोग मालिश एह शारीरिक दरद से राहत देवे खातिर अवुरी हाथ-गोड़ में राहत देवे खातीर करेला। मालिश से दरद में जल्दी राहत मिलेला लेकिन दरद बहुत दिन ले बनल रहेला। एही से शरीर के दरद के स्थायी इलाज के रूप में योग फायदेमंद बा। योग विशेषज्ञ के मुताबिक, नियमित योग अभ्यास से कंधा,हाथ-गोड़ में दरद के समस्या कम हो सकता। कुछ खास आसन होखेला, जवन कि गोड़ के मांसपेशी के मजबूत करेला अवुरी हल्का महसूस करे में मदद करेला। अगिला स्लाइड में हाथ-गोड़ के दरद से राहत देवे वाला योगासन के बारे में जानीं।
ब्रिज पोज
एह आसन के ब्रिज पोज योग भी कहल जाला। कंधा के दरद से राहत देवे में सेतुबंधासन फायदेमंद मानल जाला। एह आसन के कइला से गोड़ के मांसपेशी में भी खून के संचार बढ़ जाला। जवना के चलते गोड़ में दरद ठीक होखे लागेला। सेतुबंधासन करे खातिर पहिले पीठ के बल लेट जाइ। अब गोड़ के कंधा के चौड़ाई के अलग रख के घुटना के मोड़ दीं। हथेली खोल के हाथ सीधा जमीन पs राखीं। साँस लेत घरी कमर के हिस्सा के ऊपर के ओर उठाईं अवुरी कंधा अवुरी सिर के समतल जमीन पs टिकल राखी। साँस छोड़ला के बाद वापस पुरान स्थिति में आ जाइ।
उत्तानासन
उत्तानासन योग अभ्यास से कंधा के दरद अवुरी अकड़न के समस्या से छुटकारा मिलेला। इs आसन कमर अवुरी रीढ़ के हड्डी खातीरो फायदेमंद होखेला। एह आसन के करे खातिर सबसे पहिले गोड़ के कूल्हि के चौड़ाई से अलग कs के घुटना के सीधा राखे के चाही अवुरी आगे झुक के गोड़ के पीछे के हिस्सा के छूवे के कोशिश करीं।
बालासन
बालासन के बाल मुद्रा भी कहल जाला। एह आसन के नियमित अभ्यास से कंधा में दरद के समस्या कम हो सकेला। चाइल्ड पोज करे खातिर वज्रासन के स्थिति में जमीन पs बईठे के चाहीं। अब साँस लेत घरी दुनु हाथ सीधे माथा से ऊपर उठाईं। फेर साँस छोड़त घरी आगे झुक जाईं। हथेली आ सिर के जमीन पs रख के लंबा साँस ले के साँस छोड़ दीं। अब दुनो हाथ के अंगुरी के एक संगे जोड़ के कपार के धीरे से दुनो हथेली के बीच में राखी। कुछ देर एह अवस्था में रहीं आ फेर पुरनका अवस्था पs आ जाईं।
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