नई दिल्ली। कांग्रेस आज राज्य सभा में एमएसपी पs कृषि उपज के कानूनी गारंटी के मुद्दा उठाके सरकार के घेरल चाहत रहे, बाकिर केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान साफ कह देलें कि किसानन के कल्याण मोदी सरकार के सबसे बड़ प्राथमिकता बा।
न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) में बढन्ती आ खरीद के आंकड़ा पेश करत शिवराज कर्नाटक के कांग्रेस सरकार पs पलटवार कइलें। ऊ कहलें कि राज्य सरकार अनुमति लेला के बादो लक्षित खरीद नइखे करत। जदि राज्य सरकार एमएसपी पs दलहन नइखे किनत, तs केंद्र सरकार नैफेड जइसन संस्था के माध्यम से सीधे सौ प्रतिशत खरीद करी।
प्रश्नकाल में कांग्रेस सांसद मुकुल वासनिक पूछलें- का किसान आ संगठन एमएसपी के कानूनी गारंटी खातिर आंदोलन नइखे करत? सरकार एकरा पs का करे जा रहल बिया? जवाब में कृषि मंत्री कहलें कि पूरा विवरण उत्तर पटल पs रखल गइल बा। एकरा पs वासनिक आरोप लगवलें कि सही जवाब नइखे दिहल जात।
एकरा पs शिवराज कांग्रेस पs सीधा हमला बोलत कहलें कि 2019 में प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में सरकार फैसला कइले रहे कि लागत पs 50 प्रतिशत मुनाफा जोड़के एमएसपी तय होई।
अब किसानन से तुअर, मसूर, उड़द के सौ फीसदी खरीद होई। जबकि यूपीए सरकार कहले रहे कि लागत पs सीधा 50 प्रतिशत बढ़न्ती कइल जाई तs बाजार में विकृति आ सकेला।
राज्य सरकारन पs खरीद में ढिलाई के आरोप
शिवराज दावा कइलें कि हमनी के स्वामीनाथन आयोग के सिफारिस पूरा मानत बानी सs आ लागत पs 50 प्रतिशत मुनाफा जोड़के एमएसपी पs खरीदारी करत बानी सs। कइयन गो राज्य सरकार खरीद में ढिलाई करेली सs, जवना से किसानन के दिक्कत होला।
शिवराज साफ कहलें- जदि राज्य सरकार तुअर, मसूर, उड़द कम किनी भा ना किनी, तs केंद्र सरकार नैफेड के माध्यम से सीधे किनी।
कर्नाटक के मिसाल देत कहलें कि 2024-25 में राज्य सरकार तुअर किने खातिर जेतना अनुमति लेले रहे, ओतना किनबे कइलस।
जब वासनिक किन के फार्मूला पूछलें, तs शिवराज जवाब देलें- “किसानन के भलाई करे खातिर हमार फार्मूला बा।”
कांग्रेस सांसद वासनिक दावा कइलें कि पिछला 10 बरिस में 1 लाख 12 हजार किसान आत्महत्या कs चुकल बाड़ें।





